4 महीने पहले मनी दिवाली, विश्वकप जीत कर पूरा भारत जश्न में डूबा

T20 World Cup 2024 – Final: 4 महीने पहले मनी दिवाली, विश्वकप जीत कर पूरा भारत जश्न में डूबा, तुरूफ का इक्का साबित हुए जसप्रीत बुमराह, सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन ने बनाया प्लेयर ऑफ़ द टूर्नामेंट। टीम इंडिया ने कल दक्षिण अफ्रीका को 7 रनों से हराकर टी20 विश्व कप का खिताब जीत कर 11 साल के आईसीसी ट्रॉफी के सूखे को खत्म किया। वहीं, 17 साल के बाद भारतीय टीम टी20 विश्व चैंपियन बनी है। इससे पहले भारत ने T20 विश्वकप 2007 में जीता था। भारत की जीत में तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह का किरदार अहम रहा। इसके लिए उन्हें प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट का अवॉर्ड दिया गया। इस विश्व कप में बुमराह ने 8 मैचों में 15 विकेट झटके और कई बार भारत को हारी हुई बाजी जिताई। वहीं, विराट कोहली को प्लेयर ऑफ मैच का पुरुस्कार दिया गया। विराट कोहली का ये विश्वकप अच्छा नहीं रहा। लेकिन फाइनल में 76 रनों की पारी खेलकर उन्होंने अपनी खोयी लय वापस पाली और भारत को जीत की दहलीज पर पहुँचाया। अंत भला तो सब भला।

टी20 विश्व कप में कई ऐसे मौके आए जब लगा कि टीम इंडिया यह मैच हार जाएगी। तभी बुमराह गेंदबाजी के लिए आए और उन्होंने सामने वाली टीम के जज्बात के साथ-साथ मैच भी पलट दिया। बुमराह हर मैच में तुरूफ का इक्का साबित हुए। 2022 में बुमराह चोटिल हुए थे और तब यह कहा जा रहा था कि बुमराह कभी वापसी नहीं कर पाएंगे। करीब एक साल बाद बुमराह ने 2023 वनडे विश्व कप से पहले वापसी की। 2023 में वनडे विश्व कप में जबरदस्त प्रदर्शन के बाद अब बुमराह ने टी20 विश्व कप में भी अपना जलवा बिखेरा। भारत की जीत में उनका अहम योगदान रहा।

प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट बने बुमराह सबसे ज्यादा विकेट चटकाने के मामले में फजलहक फारूकी से बस तीन विकेट पीछे रह गए। फारूकी और अर्शदीप ने 17-17 विकेट चटकाए। बुमराह 15 विकेट चटकाकर दक्षिण अफ्रीका के एनरिक नॉर्त्जे के साथ संयुक्त रूप से तीसरे नंबर पर रहे, लेकिन जो कारनामा उन्होंने किया, उसका विश्व कप के इतिहास में कोई जोड़ नहीं दिखता। बुमराह ने भारत की टी20 विश्व कप 2024 में खेले 8 मैचों में कुल 29.4 ओवर गेंदबाजी की और 15 विकेट चटकाए, लेकिन जो सबसे बड़ी बात रही, वह उनका इकोनॉमी रेट रहा। उनका इकोनॉमी रेट 4.17 का रहा। टी20 में 4.17 का इकोनॉमी किसी चमत्कार से कम नहीं। इतना कम इकोनॉमी तो ODI में ला पाना बहुत कठिन होता है।

कप्तान रोहित ने बुमराह को उस जगह इस्तेमाल किया जहां उन्हें विकेट की सबसे ज्यादा दरकार थी। यह प्लान कामयाब हुआ। फाइनल मैच में अक्षर पटेल के बुरी तरह पिटने के बाद बुमराह के ओवर ने मैच का रुख बदल दिया था। क्लासेन को हार्दिक पांड्या ने आउट कर रही सही कसर पूरी करदी। बुमराह का पाकिस्तान के खिलाफ स्पेल कौन भूल सकता है। पाकिस्तान को रन-अ-बॉल की दरकार थी और तभी बुमराह ने रिजवान को आउट कर पाकिस्तान को हारने के लिए मजबूर किया था। इसके बाद अफगानिस्तान, इंग्लैंड और फिर दक्षिण अफ्रीका को भी हारने पर मजबूर किया। बुमराह को सिर्फ अमेरिका के खिलाफ मैच में कोई विकेट नहीं मिला। इसके अलावा उन्होंने हर मैच में विकेट निकाला है।

जसप्रीत बुमराह ने प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट अवॉर्ड जीतने के बाद कहा- “मैंने शांतचित्त होकर खेलने की कोशिश की। हम इसी के लिए खेलते हैं और मैं सातवें आसमान पर हूं। मेरा बेटा यहां है, परिवार यहां है। हमने जीत के लिए बहुत मेहनत की थी। इससे बढ़कर कुछ नहीं। हम इस स्तर पर खेलने के लिए ही जीते हैं। बड़े मैच में आप और बेहतर करते हैं। मैं पूरे टूर्नामेंट में काफी स्पष्ट और शांतचित्त रहा। अब जीत के बाद जज्बात हावी हो सकते हैं। मैं आम तौर पर जज्बात जाहिर नहीं करता, लेकिन अब काम पूरा हो गया है। आज मेरे पास शब्द नहीं है। मैं मैच के बाद रोता नहीं, लेकिन अब भावनायें हावी हो रही हैं।”